विदाई
एक साल पहले एक नेशनल एग्जाम की तैयारी करते हुए कभी सपने में भी नहीं सोचा था की जम्मू चली जाउंगी। घर तो बाक़ायदा छोड़ना ही था, कुछ ख़ास वजह तो नहीं थी, मगर मन था, शायद ज़िन्दगी के उस समय में घर, परिवार, प्यार, दोस्त सब से ऊब गई थी। एग्जाम की तैयारी की, सिलेक्शन भी हो गया , दिल्ली कैंपस का सपना देखा था जम्मू जा पड़ी। IIMC का जम्मू कैंपस , बता दूँ IIMC भारत का नंबर वन जर्नलिज्म एंड मास कम्युनिकेशन का कॉलेज है, मिनिस्ट्री ऑफ़ इनफार्मेशन एंड ब्राडकास्टिंग, गवर्नमेंट ऑफ़ इंडिया का अपना कॉलेज। ख़ैर, जम्मू में पहला दिन लैंड करते ही मेरा फ़ोन चलना बंद हो गया, क्यूंकि जम्मू-कश्मीर में प्रीपेड सिम नहीं चलती है, आप भी ध्यान रखियेगा इस बात का। पापा पहुंचाने आये थे, पहली बार जो घर से दूर आ रही थी। कैंपस में पहला कदम और कैंपस मेरा पहाड़ों की गोद में, सिर्फ पहाड़, आगे-पीछे ऊपर-नीचे। बेसिक शॉपिंग के लिए भी ढाई किलोमीटर नीचे चल कर जाना पढ़े, ऐसी जगह। मेरे आंसू निकल आये, एक दिन तो सिर्फ़ बिलख बिलख कर रोने में निकाल दिया कि यहाँ कैसे रहूंगी। अगले दिन पापा घर वापस जा रहे थे, उन्हें सी ऑफ करने मैं कॉलेज के मेन गेट तक